धारा 8 बाल-विवाह प्रतिषेध अधिनियम -वह न्यायालय जिसमें अर्जी दी जानी चाहिए-
धारा 3, धारा 4 और धारा 5 के अधीन अनुतोष प्रदान करने के प्रयोजन के लिए अधिकारिता रखने वाले जिला न्यायालय में उस स्थान के ऊपर जहां प्रतिवादी या बालक निवास करता है या जहां विवाह अनुष्ठापित किया गया था या जहां पक्षकारों ने अंतिम रूप से एक साथ निवास किया था या जहां अर्जीदार अर्जी पेश करने की तारीख को निवास कर रहा है, अधिकारिता रखने वाला जिला न्यायालय सम्मिलित होगा ।
8 Prohibition of Child Marriage Act – Court to which petition should be made –
For the purpose of grant of reliefs under sections 3, 4 and 5, the district court having jurisdiction shall include the district court having jurisdiction over the place where the defendant or the child resides, or where the marriage was solemnised or where the parties last resided together or the petitioner is residing on the date of presentation of the petition.