धारा 23 भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम — धारा 13 (1) (क)] के अधीन किसी अपराध के संबंध में आरोप की विशिष्टियां.–
दंड प्रक्रिया संहिता, 1973 (1974 का 2) में किसी बात के होते हुए भी जब कोई अभियुक्त धारा 13 की उपधारा (1) के [खंड (क)] के अधीन किसी अपराध से आरोपित किया जाता है, तब आरोप से उस सम्पत्ति की, जिसके संबंध में उस अपराध का किया जाना अभिकथित है और उन तारीखों को जिनके मध्य में अपराध का किया जाना अभिकथित है विशिष्ट मदों या ठीक-ठीक तारीखों को विनिर्दिष्ट किए बिना, वर्णित करना पर्याप्त होगा और ऐसे विरचित आरोप को उक्त संहिता की धारा 219 के अर्थ में एक अपराध का आरोप समझा जाएगा:
परन्तु ऐसी प्रथम और अन्तिम तारीखों के मध्य का समय एक वर्ष से अधिक नहीं होगा ।
Section 23 prevention of corruption act — Particulars in a charge in relation to an offence under 1[section 13(1)(a)].–
Notwithstanding anything contained in the Code of Criminal Procedure, 1973 (2 of 1974), when an accused is charged with an offence under 2[clause (a)] of sub-section (1) of section 13, it shall be sufficient to describe in the charge the property in respect of which the offence is alleged to have been committed and the dates between which the offence is alleged to have been committed, without specifying particular items or exact dates, and the charge so framed shall be deemed to be a charge of one offence within the meaning of section 219 of the said Code:
Provided that the time included between the first and last of such dates shall not exceed one year.