धारा 2 मध्यप्रदेश अत्यावश्यक सेवा संधारण तथा विच्छिन्नता निवारण अधिनियम 1979 — अधिनियम का लागू होना. –
यह अधिनियम, अत्यावश्यक सेवा से सम्बन्धित वैज्ञानिक, तकनीकी, कार्यपालिक, प्रवर्ती (आपरेटिव) तथा अनुसचिवीय व्यक्तियों को लागू होगा ।
स्पष्टीकरण.- इस धारा में, अत्यावश्यक सेवा से सम्बन्धित व्यक्तियों के अन्तर्गत आते हैं,
वे व्यक्ति :-
(एक) जो छेके पर रखे गये हैं
(दो) जो पूर्णकालिक नियोजन में नहीं है;
(तीन) जिन्हें आकस्मिक व्यय (कन्टिन्जेन्सीज) में से भुगतान किया जाता है ;
(चार) जो कार्यभारित स्थापनाओं में नियोजित किये गये हैं; और
(पांच) वे व्यक्ति जो राज्य सरकार या उसकी किसी एजेन्सी से किसी भी नाम से आर्थिक फायदे प्राप्त कर रहे हों और जिनसे लोक स्वास्थ्य के संबंध में सार्वजनिक फायदे के लिए कर्तव्यों का निर्वहन करने की अपेक्षा की जाती है ।