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IPC की धारा 48 | धारा 48 भारतीय दण्ड संहिता | IPC Section 48 In Hindi

IPC की धारा 48 — “जलयान” –

“जलयान” शब्द किसी चीज का द्योतक है, जो मानवों के या संपत्ति के जल द्वारा प्रवहण के लिए बनाई गई हो।


IPC की धारा 48 FAQ

  1. आईपीसी के अन्तर्गत जलयान का क्या अभिप्राय है?

    संहिता की धारा 48 के अंतर्गत जलयान शब्द किसी चीज का द्योतक है, जो मानवों के या सम्पत्ति के जल द्वारा प्रवहण के ‘लिए बनाई गई है।

  2. IPC की धारा 48 के अंतर्गत जलयान को परिभाषित करे|

    “जलयान” शब्द किसी चीज का द्योतक है, जो मानवों के या संपत्ति के जल द्वारा प्रवहण के लिए बनाई गई हो।

  3. जलयान को भारतीय दंड संहिता की किस धारा में परिभाषित किया गया है?

    आईपीसी (IPC) की धारा 48 में

  4. आईपीसी की धारा 48 क्या है?

    “जलयान” शब्द किसी चीज का द्योतक है, जो मानवों के या संपत्ति के जल द्वारा प्रवहण के लिए बनाई गई हो।

IPC Section 48 — “Vessel” –

The word “vessel” denotes anything made for the conveyance by water of human beings or of property.

भारतीय दण्ड संहिता के लिए महत्वपूर्ण पुस्तकें –

भारतीय दंड संहिता,1860 – प्रो सूर्य नारायण मिश्र

भारतीय दंड संहिता, 1860 – डॉ. बसंती लाल

भारतीय दण्ड संहिता ( DIGLOT) [ENGLISH/HINDI] [BARE ACT]

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